लेखनी प्रतियोगिता -21-Nov-2022
*******सुकून के कुछ पल ********
कविता आज बहुत खुश थी। क्योंकि उसके बेटे को फिल्म के लिए आज राष्ट्रीय पुरस्कार मिल रहा था।
आज उसकी मेहनत कामयाब हो गई थी।
तेजस एक अच्छा एक्टर बन गया था। उसका फिल्म इंडस्ट्रीज में बहुत नाम हो रहा था।
हर तरफ तेजस की वाह-वाह होती थी। आज कविता को लग रहा था जैसे इसका दूसरा जन्म हुआ है। तभी तेजस कमरे में आता है।
तेजस-मां किधर खोए हुए हो जल्दी से तैयार हो जाओ। हम दोनों को साथ चलना है।
कविता - बेटा ****तैयार हो रही हूं।
दोनों कार में बैठकर इवेंट जाने के लिए निकल
जाते हैं।
1 घंटे में दोनों उस भव्य आयोजन में पहुंच जाते हैं।
कविता की आंखें यह मंजर देख कर दंग रह जाती हैं। समझ नहीं आता कि वह गेट खोलकर बाहर कैसे जाए। कभी तेजस कार का दरवाजा खोल कर बाहर ले जाता है।
सभी लोग उन दोनों को घेर लेते हैं। कविता घबरा जाती है। तेजस समझ जाता है। वह फटाफट रश्मि को फोन मिलाता है।
हेलो रश्मि मां को अपने साथ ले जाओ।
कविता-बेटा मुझे किधर भेज रहे हो।
तेजस-मां परेशान मत हो ।।आप रश्मि के साथ चले जाओ वह आपको सारी बात बता देगी।
रश्मि-मैम मेरे साथ आइए।
रश्मि उसको ड्रेसिंग रूम में ले जाती है।
कविता-तैयार हूं अब मुझे तैयार होने की जरूरत नहीं है। मैम आपको अभी चेंज करना होगा।
तभी रश्मि के लिए एक नीले रंग का गाउन लेकर आती है। मैम इसको पहन लो
कविता-नहीं नहीं नहीं मैं नहीं पहनूंगी।
रश्मि-मैम आप पहन लो तेजस सर ने हमें बोला था कि मां को अच्छे से तैयार करके भेजना मैं तो उनका ऑर्डर फॉलो कर रही हूं।
कविता तैयार हो जाती है। आईने में देख कर
चौक जाती है कि वह बहुत ही खूबसूरत लग
रही थी। रश्मि कविता को तेजस के पास ले
जाती है।
तेजस मां को देख कर चौक जाता है। मां को प्यार
से गले लगा लेता है।
तभी स्टेज पर तेजस का नाम अनाउंस होता है।
तेजस मां का हाथ पकड़ के स्टेज पर ले जाता है।
सारा हॉल तालियों से गूंजने लगता है।
अपना अवार्ड मां को दिलवाता है। दोनों भावुक हो जाते हैं।
तेजस को कुछ शब्द बोलने के लिए कहा जाता है।
तेजस-दोस्तों यह मेरी जिंदगी का बहुत ही खूबसूरत दिन है।
और यह दिन लाने वाली मेरी मां है। उन्होंने मुझे इस लायक बनाया। पापा के जाने के बाद मेरी हर इच्छा को पूरा किया। मुझे बचपन में मां परियों की कहानी सुनाती थी। लेकिन मुझे तो मेरी मां ही एक परी लगती है। माँ के हाथ में जादुई छड़ी पकड़ा देता है। यह है "मेरी जादुई परी मां" सारा हॉल भावुक हो जाता है।
यही पल जिंदगी का सुकून था।
जिनको शब्दों में बयाँ नहीं किया जा सकता।
एकता सिंह 'मंजू '
Rakesh rakesh
22-Nov-2022 09:47 PM
👌👌👌👌
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Punam verma
22-Nov-2022 08:13 AM
Very nice
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Abhinav ji
22-Nov-2022 07:38 AM
Very nice 👍👍👍
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